Yeh Aaina Lyrics - Kabir Singh
ये आइना है या तू है
जो रोज़ मुझको संवरे
इतना लगे सोचने क्यूँ
मैं आजकल तेरे बारे
तू झील ख़ामोशियों की
लफ़्ज़ों की मैं तो लहर हूँ
एहसास की तू है दुनिया
छोटा सा मैं एक शहर हूँ
ये आइना है या तू है
जो रोज़ मुझको संवरे
ख़ुद से है अगर तू बेख़बर
बेख़बर रख लूँ मैं तेरा ख़याल क्या
चुपके चुपके तू नज़र में उतर
सपनों में लूँ मैं सम्भाल क्या
सपनों में लूँ मैं सम्भाल क्या
मैं दौड़ के पास आऊँ
तो नींद में जो पुकारे
मैं रेत हूँ तू है दरिया
बैठी हूँ तेरे किनारे
ये आइना है या तू है
जो रोज़ मुझको संवरे
तन्हा है अगर तेरा सफ़र
हमसफ़र तन्हाई का मैं जवाब हूँ
होगा मेरा भी असर
तू अगर पढ़ ले मैं तेरी किताब हूँ
पढ़ ले मैं तेरी किताब हूँ
सीने पे मुझको सज़ा के
जो रात सारे गुज़ारे
तो मैं सवेरे से कह दूँ
मेरे शहर तू ना आ रे
ये आइना है या तू है
जो रोज़ मुझको संवरे
Yeh Aaina Lyrics - Kabir Singh - English Font
Yeh aaina hai ya tu hai
Jo roz mujhko sanvaare
Itna lage sochne kyun ?
Main aajkal tere baare
Tu jheel khamoshiyon ki
Lafzon ki main toh lehar hoon
Ehsaas ki tu hai duniya
Chhota sa main ek sehar hoon
Yeh aaina hai ya tu hai
Jo roz mujhko sanvaare
Khud se hai agar tu bekhabar
Bekhabar rakh loon main tera khayal kya ?
Chupke chupke tu nazar mein utar
Sapno mein loon main samhaal kya
Sapno mein loon main samhaal kya
Main daud ke paas aaun
Toh neend mein jo pukaare
Main reet hoon tu hai dariya
Baithi hoon tere kinaare
Yeh aaina hai ya tu hai
Jo roz mujhko sanvaare
Tanha hai agar tera safar
Humsafar tanhayi ka main jawab hoon
Hoga mera bhi ashar
Tu agar padh le main teri kitaab hoon
Padh le main teri kitaab hoon
Seene pe mujhko saja ke
Jo raat saare gujaare
Tu main saveere se keh doon
Mere sehar toh na aave