बेवजह था सफ़र बिन तेरे हमसफ़र
लग रहा है तुझे देख के
ज़िन्दगी की तरह तू है पहला कदम
है तुझी में मेरी मंज़िलें
बहुत आई-गई यादें
मगर इस बार तुम ही आना
इरादे फिर से जाने के
नहीं लाना, तुम ही आना
लिखा है क्या नसीबों में
मोहब्बत के खुदा जाने
जो दिल हद से गुज़र जाए
किसी की वो कहाँ माने
जहाँ जाना नही दिल को
इसे है क्यूँ वही जाना?
बहुत आई-गई यादें
मगर इस बार तुम ही आना
ਮਰਜਾਵਾਂ, ਮਰਜਾਵਾਂ
Bu şarkı sözü 284 kere okundu.